उत्तराखण्ड

कब्रिस्तान की जमीन को लेकर विवाद, जानें क्या है पूरा मामला

देहरादून कारगी ग्रैंड मुस्लिम बस्ती में कब्रिस्तान को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा है। दरअसल एक आदेश में कहा गया है कि 1.5 हेक्टेयर भूमि कारगी ग्रांट में कब्रिस्तान के लिए दी गई। लेकिन अब इस जमीन पर नगर निगम देहरादून ने सड़क का टेंडर पास कर दिया है।

मुख्य बिंदु

कब्रिस्तान की जमीन को लेकर विवाद

स्थानीय लोगों ने लगाए आरोप

सीएम से की जांच की मांग

कब्रिस्तान की जमीन को लेकर विवाद

लंबे समय से ग्रैंड मुस्लिम बस्ती में कब्रिस्तान को लेकर विवाद चल रहा है। बता दें कि एक आदेश में इस जमीन को कब्रिस्तान के लिए दे दिया गया। लेकिन अब नगर निगम ने इस जमीन पर सड़क का टेंडर पास कर दिया है। जबकि इस जमीन पर एमडीडीए का कोई मालिकाना हक भी नहीं है। लेकिन इसके बावजूद एमडीडीए के अधिकारियों ने कब्रिस्तान पर सड़क का टेंडर पास कर दिया है।

स्थानीय लोगों ने लगाए आरोप

स्थानीय लोगों का आरोप है की देहरादून के कारगी ग्रैंड मुस्लिम बस्ती स्थित विजिलेंस कार्यालय के समीप बस रही उत्तराखंड सचिवालय समिति के गोलमाल और जमीन हड़पने के मसूड़े को अमली जामा पहनाने के लिए पदों का अनुचित उपयोग कर इसको परियोजना का नाम देकर एक बड़े जमीन स्कैम को अंजाम दिया जा रहा है।

सीएम से की जांच की मांग

शनिवार को उत्तराखंड क्रांति दल के नेता अनुपम खत्री ने कुछ स्थानीय लोगों के साथ मिलकर प्रेस कांफ्रेंस की। जिसमें उन्होंने आरोप लगाया की सीएम के नाम की आड़ लेकर सचिवालय समिति वाले अपनी बिना संपर्क मार्ग वाली अवैध प्लाटिंग को बात करने में जुटे हुए हैं।

इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की घोषणा को आधार बना कर एमडीडीए ने एक संपर्क मार्ग का टेंडर पास किया गया। उन्होंने आरोप लगाया की जब इस घोषणा को खोजा गया तो पाया गया की ना तो प्राधिकरण को कोई सीधा दिशा-निर्देश दिए गए और न ही सड़क बनाने संबंधी कोई स्पष्ट आदेश पाए गए। अनुपम खत्री ने अनुरोध किया है कि सीएम धामी को इस प्रकरण का संज्ञान लेकर इस मामले की जांच करानी चाहिए।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button