जनपद सहारनपुर में दो नाबालिगों — एक 17 वर्ष 4 माह की लड़की और लगभग 17 वर्षीय लड़के — के कथित रूप से 02 मई को घर से भागने की घटना ने सामाजिक और कानूनी चिंताओं को जन्म दे दिया है। युवती की मां ने थाना मंडी में शिकायत दर्ज कराई,

ब्रेकिंग न्यूज़: सहारनपुर में दो नाबालिगों का भागना और निकाह का “समझौता” — सूत्रों के अनुसार पहले भी पुलिस चौकी पर हुआ था सुलह!
सहारनपुर, 06 मई 2025:
जनपद सहारनपुर में दो नाबालिगों — एक 17 वर्ष 4 माह की लड़की और लगभग 17 वर्षीय लड़के — के कथित रूप से 02 मई को घर से भागने की घटना ने सामाजिक और कानूनी चिंताओं को जन्म दे दिया है। युवती की मां ने थाना मंडी में शिकायत दर्ज कराई, जिसके बाद 03 मई को दोनों वापस लौट आए। सूत्रों के अनुसार, इसके बाद 06 मई को दोनों पक्षों ने आपसी समझौता करते हुए निकाह की तारीख तय कर दी।
पुलिस चौकी पर पहले भी हुआ था समझौता!
मामले से जुड़े विश्वसनीय सूत्रों का दावा है कि इससे पहले भी यह मामला थाना मंडी क्षेत्र की निर्मात पुलिस चौकी पर पहुंचा था, जहां चौकी प्रभारी अश्वनी कुमार के संज्ञान में एक बार “सुलह” कराया गया था। इससे यह आशंका गहराती है कि कानून की अनदेखी कर बाल विवाह को मौन स्वीकृति दी जा रही थी।
बाल विवाह कानून का उल्लंघन:
भारत में लड़कों की विवाह आयु 21 वर्ष और लड़कियों की 18 वर्ष निर्धारित है। दोनों ही नाबालिग हैं, ऐसे में यह कथित निकाह बाल विवाह निषेध अधिनियम, 2006 के स्पष्ट उल्लंघन की श्रेणी में आता है।
समझौते पर पार्षद समेत कई लोगों के हस्ताक्षर:
06 मई को हुए इस समझौते में, सूत्रों के अनुसार, एक पार्षद सहित कई लोगों ने हस्ताक्षर किए, और अपने मोबाइल नंबर भी दर्ज किए हैं, जिससे यह मामला और अधिक गंभीर हो गया है।
प्रशासन की चुप्पी, कई सवाल अनुत्तरित:
अब तक न तो थाना मंडी और न ही जिला प्रशासन की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने आई है। सूत्रों के अनुसार, दोनों नाबालिग अभी भी पारिवारिक निगरानी में हैं, परंतु किसी भी प्रकार की कानूनी कार्यवाही नहीं की गई है।
विशेषज्ञों और सामाजिक संगठनों की मांग:
बाल अधिकार कार्यकर्ताओं ने प्रशासन से तत्काल हस्तक्षेप की मांग की है, ताकि इस मामले की निष्पक्ष जांच हो और नाबालिगों के भविष्य की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।